कुबेरेश्वर धाम में कांवड़ यात्रा के दौरान हुई महिलाओं की मौत पर मानव अधिकार आयोग सख्त, SP और कलेक्टर को भेजा नोटिस

सीहोर/भोपाल, । मध्यप्रदेश के सीहोर जिले स्थित कुबेरेश्वर धाम में हाल ही में आयोजित कांवड़ यात्रा के दौरान महिलाओं की हुई मौतों को लेकर मामला अब और गंभीर हो गया है। राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग ने इस घटना पर स्वतः संज्ञान लेते हुए जिला प्रशासन को स्पष्टीकरण के लिए नोटिस जारी किया है।
आयोग ने सीहोर के पुलिस अधीक्षक (SP) और कलेक्टर (DM) को निर्देश दिए हैं कि वे घटना से संबंधित सभी महत्वपूर्ण बिंदुओं पर निर्धारित समय-सीमा में विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करें।
क्या है मामला?
पवित्र श्रावण माह में आयोजित की गई कांवड़ यात्रा के दौरान कुबेरेश्वर धाम परिसर में अत्यधिक भीड़, अव्यवस्थित व्यवस्था और कथित प्रशासनिक लापरवाही के कारण कई महिलाओं की मौत की खबर सामने आई थी। बताया गया कि अत्यधिक गर्मी, भीड़भाड़, पानी की कमी और प्राथमिक चिकित्सा की अनुपलब्धता के चलते श्रद्धालुओं को भारी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा।
मानव अधिकार आयोग की चिंता
आयोग ने इस घटना को “संवेदनशील मानवाधिकार उल्लंघन” की श्रेणी में माना है। आयोग की ओर से भेजे गए नोटिस में प्रशासन से मांगी गई जानकारी में मुख्यतः निम्नलिखित बिंदु शामिल हैं:
अब तक हुई मौतों की सटीक संख्या
मौत का प्राथमिक कारण क्या रहा?
भीड़ नियंत्रण एवं आपातकालीन चिकित्सा व्यवस्था की क्या तैयारी थी?
प्रशासनिक और पुलिस तैनाती की जानकारी
भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचने के लिए नियोजन और व्यवस्था की रूपरेखा
रिपोर्ट देने की समय सीमा तय
मानव अधिकार आयोग ने स्पष्ट किया है कि सीहोर प्रशासन को निर्धारित समय सीमा में इस प्रकरण पर रिपोर्ट प्रस्तुत करनी होगी। रिपोर्ट न देने या जवाब संतोषजनक न होने की स्थिति में आगे कड़ी कार्रवाई भी की जा सकती है।
राज्य स्तर पर भी उठे सवाल
इस घटना के बाद राज्य की सियासत भी गर्म हो गई है। विपक्षी दलों ने प्रशासन पर अव्यवस्था और श्रद्धालुओं की सुरक्षा में लापरवाही के आरोप लगाए हैं, जबकि सरकार की ओर से अभी तक कोई विस्तृत बयान नहीं आया है।




