एम्स भोपाल की वर्ष 2025 में ऐतिहासिक उपलब्धियाँ: अंग प्रत्यारोपण से लेकर अंतरराष्ट्रीय चिकित्सा संवाद तक नई ऊँचाइयाँ

Bhopal . अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) भोपाल ने वर्ष 2025 में चिकित्सा सेवाओं, जटिल सर्जरी, अंग प्रत्यारोपण, जनस्वास्थ्य अभियानों, अकादमिक उत्कृष्टता और अंतरराष्ट्रीय स्तर के चिकित्सा संवाद के क्षेत्र में उल्लेखनीय उपलब्धियाँ हासिल कर मध्य भारत के स्वास्थ्य परिदृश्य को नई दिशा दी है। इन उपलब्धियों से न केवल मध्य प्रदेश बल्कि आसपास के राज्यों के हजारों मरीजों को आधुनिक, सुलभ और गुणवत्तापूर्ण उपचार उपलब्ध हुआ है।

अंग प्रत्यारोपण में ऐतिहासिक कीर्तिमान

वर्ष 2025 में एम्स भोपाल ने अंग प्रत्यारोपण के क्षेत्र में इतिहास रच दिया। जनवरी 2025 में मध्य प्रदेश का पहला सफल हृदय प्रत्यारोपण यहीं किया गया। इसके बाद अब तक कुल तीन हृदय प्रत्यारोपण और 17 सफल किडनी ट्रांसप्लांट पूरे किए जा चुके हैं। इसके साथ ही संस्थान में पहली बार संस्थागत ब्रेन-डेड अंगदान प्रक्रिया भी सफल रही, जिससे कई मरीजों को नया जीवन मिला। नेत्र एवं कॉर्निया प्रत्यारोपण के माध्यम से दृष्टिहीन मरीजों की दृष्टि बहाल कर एम्स भोपाल ने मानवीय सेवा का उदाहरण प्रस्तुत किया।

जटिल और दुर्लभ सर्जरी में अग्रणी भूमिका

एम्स भोपाल के चिकित्सकों ने वर्ष 2025 में कई दुर्लभ और जीवनरक्षक सर्जरी सफलतापूर्वक कीं। इनमें पेट की महाधमनी में सूजन का इलाज, हाइब्रिड कार्डिएक ऑपरेशन थिएटर में एंडोवैस्कुलर एओर्टिक रिपेयर, हार्ट वाल्व रिप्लेसमेंट, मध्य भारत की पहली रोबोटिक स्पाइन सर्जरी, छाती से 3 किलोग्राम का ट्यूमर निकालना, पैर की हड्डी से जबड़े का पुनर्निर्माण कर 13 दांत प्रत्यारोपित करना और ट्रांसमैन के लिए पहली टॉप सर्जरी शामिल हैं।

जनस्वास्थ्य, डिजिटल सेवाएँ और जागरूकता

जनस्वास्थ्य को सशक्त करने के उद्देश्य से ‘स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार’ अभियान के तहत राज्यभर में निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर आयोजित किए गए, जिससे 14,000 से अधिक लोगों को लाभ मिला। नेत्रदान को बढ़ावा देने के लिए क्यूआर कोड आधारित जागरूकता अभियान शुरू किया गया। वहीं, डिजिटल ओपीडी पंजीकरण में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए एम्स भोपाल ने देशभर में दूसरा स्थान प्राप्त किया।

अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन और शैक्षणिक उत्कृष्टता

चिकित्सा गुणवत्ता और रोगी सुरक्षा को मजबूत करने की दिशा में एम्स भोपाल ने SoPICON 2025 अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का सफल आयोजन किया, जिसमें दवाओं और चिकित्सा उपकरणों की सुरक्षा पर वैश्विक विशेषज्ञों ने विचार साझा किए। शैक्षणिक रैंकिंग में एम्स भोपाल ने IIRF 2025 में देश में 31वां स्थान, नए एम्स में पहला, WURI 2025 में 34वीं रैंक और इंडिया टुडे एमडीआरए 2025 में छठा स्थान हासिल किया।

वर्ष 2026 की तैयारी: भविष्य की स्वास्थ्य राजधानी

आगामी वर्ष 2026 को ध्यान में रखते हुए एम्स भोपाल में अलग अंग प्रत्यारोपण ऑपरेशन थिएटर, चार मंजिला अत्याधुनिक आईसीयू भवन, नई क्रिटिकल केयर यूनिट, गामा नाइफ मशीन, पेट स्कैन सुविधा और रोबोटिक सर्जरी व प्रशिक्षण केंद्र शुरू किए जाएंगे। इन योजनाओं से एम्स भोपाल मध्य भारत का प्रमुख उन्नत चिकित्सा और ट्रांसप्लांट केंद्र बनने की ओर और मजबूती से अग्रसर है।

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