मध्यप्रदेश पुलिस की तकनीकी जनसेवा का उदाहरण बुरहानपुर में 76 मोबाइल लौटाए गए, नागरिकों के चेहरों पर खुशी की मुस्कान

भोपाल। पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाणा के निर्देशन में मध्यप्रदेश पुलिस ने तकनीक आधारित जनसेवा को नई ऊंचाई दी है। नागरिकों के गुम और चोरी हुए मोबाइल फोन की बरामदगी में लगातार सफलता दर्ज करते हुए पुलिस ने आम जनता के भरोसे को और मजबूत किया है। इसी कड़ी में बुरहानपुर पुलिस ने सराहनीय कार्य करते हुए जिले में 76 मोबाइल फोन उनके वास्तविक मालिकों को लौटाए। पुलिस अधीक्षक देवेंद्र कुमार पाटीदार के नेतृत्व में सायबर सेल टीम ने केंद्र सरकार के CEIR पोर्टल की मदद से इन मोबाइल फोनों को ट्रेस किया। बरामद मोबाइलों की अनुमानित कीमत 11 लाख 40 हजार रुपए बताई गई है।
इनमें कई ऐसे मोबाइल शामिल हैं जो छात्रों की पढ़ाई और ऑनलाइन शिक्षा के लिए जरूरी थे। जब पुलिस ने कार्यक्रम आयोजित कर इन मोबाइलों को उनके असली मालिकों को सौंपा, तो नागरिकों के चेहरों पर खुशी और राहत की झलक दिखाई दी।
इससे पहले छिंदवाड़ा पुलिस ने दीपावली के मौके पर 201 मोबाइल फोन बरामद कर पुलिसीय उपहार के रूप में जनता को सौंपे थे, जिनकी कीमत करीब 42 लाख 15 हजार रुपए थी।
मध्यप्रदेश पुलिस ने अक्टूबर माह में अब तक 1,750 से अधिक मोबाइल फोन उनके मालिकों को लौटाए हैं। इनमें सिंगरौली (288), विदिशा (275) और इंदौर (272) जिलों का योगदान विशेष रूप से उल्लेखनीय रहा है।
यह पहल न केवल पुलिस की तकनीकी दक्षता और जनसेवा के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है, बल्कि जनता और पुलिस के बीच विश्वास और सहयोग के रिश्ते को भी और मजबूत बनाती है।
जनता की मदद करना और उनकी खोई हुई वस्तुएं वापस दिलाना, पुलिस का मानवीय कर्तव्य है। मध्यप्रदेश पुलिस



