भोपाल, । राज्य सरकार ने मध्यप्रदेश में औषधि प्रशासन और खाद्य परीक्षण प्रयोगशालाओं को अत्याधुनिक बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। औषधि परीक्षण प्रयोगशालाओं की जांच क्षमता को 6,000 से बढ़ाकर 20,000 नमूनों प्रतिवर्ष तक करने का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए 211 करोड़ रुपये का प्रस्ताव केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) नई दिल्ली को भेजा गया है। वर्तमान में प्रदेश में चार खाद्य परीक्षण प्रयोगशालाएँ हैं, जिनमें से एक सक्रिय है और शेष तीन में NABL मान्यता प्रक्रिया चल रही है। इन लैबों की क्षमता 6,500 से बढ़ाकर 25,000 नमूनों प्रतिवर्ष करने के लिए 109 करोड़ रुपये का प्रस्ताव FSSAI भारत सरकार को भेजा गया है।
इसके अलावा उज्जैन में नई आधुनिक औषधि व खाद्य परीक्षण प्रयोगशाला स्थापित करने की योजना भी तैयार की जा रही है। आउटसोर्सिंग के माध्यम से 24×7 टोल हेल्पलाइन, मोबाइल परीक्षण लैब और हैंडहेल्ड डिवाइस की व्यवस्था भी प्रस्तावित है।औषधि निरीक्षकों के लिए जिला स्तर पर स्वतंत्र कार्यालय, वाहन सुविधा, लीगल सेल और इंटेलिजेंस सेल गठित करने का प्रस्ताव भी शामिल है।
मध्यप्रदेश में औषधि एवं खाद्य प्रयोगशालाओं के सुदृढ़ीकरण की बड़ी योजना, 320 करोड़ का प्रस्ताव भेजा गया
