
मुम्बई । पूर्व भारतीय गेंदबाजी कोच भरत अरूण ने कहा है कि किसी भी बदलाव को आसानी से स्वीकार नहीं किया जाता है और उसके साथ ही कई चुनौतियां भी आती हैं। उन्होंने कहा कि कर्नल सीके नायडू ट्रॉफी में टॉस हटाने का फैसला भी लाभप्रद हो सकता है। इसका कारण है कि घरेलू टीम जो विकेट तैयार करती है, वह सही होगा क्योंकि वे नहीं चाहेंगे कि विरोधी टीम को कोई लाभ मिले। इसलिए मुझे लगता है कि निष्पक्ष विकेट होंगे। नये नियम के तहत अब अब पहले बल्लेबाजी या गेंदबाजी का फैसला मेहमान टीम के हाथ में रहेगा।
अरुण ने कहा, यह कुछ ऐसा है जिसके लिए हमें इंतजार करना होगा और देखना होगा। हमने पहले ऐसा नहीं किया है। हमें इंतजार करना होगा और देखना होगा कि यह बदलाव कितना बेहतर रहता है। हर बदलाव अपनी चुनौतियों के साथ आता है। बदलाव के कुछ अच्छे जबकि कुछ नुकसानदेह पक्ष रहते हैं। हमें वास्तव में इंतजार करना होगा और देखना होगा कि यह कैसे सामने आता है।
अंडर-23 प्रतियोगिता की नई संशोधित अंक प्रणाली में पहली पारी में टीमों की बल्लेबाजी और गेंदबाजी के लिए अतिरिक्त अंक शामिल हैं। अरुण ने इसी को लेकर कहा, अंक प्रणाली में आए सभी बदलावों के साथ, वे यह देखने की पूरी कोशिश कर रहे हैं कि वे इसे और अधिक प्रतिस्पर्धी कैसे बनाया जा कसता है। जिससे कि अधिक से अधिक परिणाम मिलें। यह खेल के लिए काफी अच्छा है। मुझे लगता है कि पहले कई टीमें ड्रॉ के लिए खेलती थीं या फिर एक तरफ से खेलकर नकारात्मक लाइन पर गेंदबाजी करती थीं। यह सब अब समाप्त होगा और सभी को सकारात्मक खेल खेलना होगा।