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दिल्ली की सियासत में सक्रिय स्मृति ईरानी, बीजेपी की नई रणनीति का संकेत

नई दिल्ली: दिल्ली में राष्ट्रपति शासन की मांग को लेकर बीजेपी विधायकों के बीच चर्चा के बीच केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने दिल्ली की राजनीति में अपनी सक्रियता बढ़ा दी है। इसे लेकर कयास लगाए जा रहे हैं कि ईरानी दिल्ली में बीजेपी का चेहरा बन सकती हैं। बीजेपी सूत्रों के अनुसार, अगर स्मृति ईरानी को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के खिलाफ खड़ा किया जाता है, तो पार्टी को चुनावी बढ़त मिल सकती है।

बीजेपी दिल्ली यूनिट के नेताओं का कहना है कि अंतिम फैसला पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को लेना है, लेकिन स्मृति ईरानी वर्तमान में जिले स्तर की बैठकों में लगातार शामिल हो रही हैं। इससे पहले बीजेपी ने 1998 में सुषमा स्वराज और 2015 में किरण बेदी को दिल्ली में चुनावों में उतारा था। अब 2024 के चुनावों के लिए स्मृति ईरानी को पार्टी की ओर से उम्मीदवार बनाने की संभावनाएं जताई जा रही हैं।

दिल्ली बीजेपी के लिए 2025 का विधानसभा चुनाव “करो या मरो” की स्थिति में है, क्योंकि पार्टी पिछले दो विधानसभा चुनावों में अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पाई है। लोकसभा चुनावों के लिए भी कई सांसदों के क्षेत्रों में बदलाव किया गया है, जिसमें छह टिकटों को बदलकर नए जिम्मेदारियां सौंपी गई हैं।

बीजेपी सांसद योगेंद्र चांदोलिया ने बताया कि दिल्ली के विभिन्न जिलों जैसे नवीन शाहदरा, करोल बाग, नई दिल्ली, चांदनी चौक, शाहदरा मयूर विहार, और केशव पुरम में स्मृति ईरानी के कार्यक्रम तय किए गए हैं। ईरानी ने हाल ही में केशवपुरम जिले में बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा, “बूथ स्तर के कार्यकर्ता बीजेपी की शक्ति का आधार हैं। हर नए सदस्य के साथ हम और मजबूत होते हैं और लोगों की सेवा करने की हमारी क्षमता बढ़ती है।”

दिल्ली बीजेपी की नजर हरियाणा चुनाव पर भी टिकी हुई है, क्योंकि वहां का प्रदर्शन आगामी दिल्ली चुनावों को प्रभावित कर सकता है। संगठन मंत्री सिद्धार्थन, जिन्हें हाल ही में हिमाचल प्रदेश की जिम्मेदारी दी गई थी, को फिर से दिल्ली में मौजूदा संगठन मंत्री पहन राणा के साथ जोड़ा जा रहा है।

स्मृति ईरानी की सक्रियता से यह साफ संकेत मिल रहे हैं कि दिल्ली की राजनीति में बीजेपी एक नई रणनीति तैयार कर रही है, जिससे 2024 और 2025 के चुनावों में पार्टी को मजबूती मिल सके।

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