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सतीश कुमार बने रेलवे बोर्ड के नए अध्यक्ष और सीईओ, 34 वर्षों के अनुभव के साथ संभाली जिम्मेदारी

भोपाल: सतीश कुमार ने 1 सितंबर को रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) का कार्यभार संभाल लिया। इससे पहले, मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति ने उन्हें इस पद पर नियुक्ति की मंजूरी दी थी। भारतीय रेलवे यांत्रिक इंजीनियर सेवा (IRSME) के 1986 बैच के अधिकारी, सतीश कुमार का करियर 34 वर्षों से अधिक का है, जिसमें उन्होंने भारतीय रेलवे में कई महत्वपूर्ण योगदान दिए हैं।

सतीश कुमार ने अपने करियर की शुरुआत 1988 में की थी, और तब से लेकर अब तक उन्होंने भारतीय रेलवे के विभिन्न डिवीजनों में महत्वपूर्ण भूमिकाएं निभाई हैं। उनका तकनीकी कौशल और नवाचार के प्रति समर्पण रेलवे प्रणाली में दक्षता और सुरक्षा के सुधार में अहम साबित हुए हैं। उनकी प्रमुख पोस्टिंग्स में झांसी डिवीजन, डीजल लोकोमोटिव वर्क्स (डीएलडब्ल्यू) वाराणसी, उत्तर पूर्व रेलवे गोरखपुर, और पटियाला लोकोमोटिव वर्क्स शामिल हैं, जहाँ उन्होंने परिचालन दक्षता को बढ़ाने वाले कई प्रोजेक्ट्स में योगदान दिया।

श्री कुमार का कुल गुणवत्ता प्रबंधन (TQM) के प्रति समर्पण विशेष रूप से उल्लेखनीय है। 1996 में, उन्होंने संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (UNDP) के तहत TQM में विशेष प्रशिक्षण प्राप्त किया। इस प्रशिक्षण ने रेलवे में निरंतर सुधार और उच्च गुणवत्ता मानकों को सुनिश्चित करने में उनकी भूमिका को और मजबूत किया। उनका फॉग सेफ डिवाइस पर काम भी अत्यधिक प्रशंसित है, जो कोहरे के दौरान सुरक्षित ट्रेन संचालन सुनिश्चित करने में सहायक सिद्ध हुआ है।

उत्तर रेलवे के लखनऊ डिवीजन में डिवीजनल रेलवे मैनेजर (DRM) के रूप में कार्य करते हुए, श्री कुमार ने बुनियादी ढांचे के विकास में अहम भूमिका निभाई। 2019 में कुंभ मेले के सफल संचालन के दौरान उनकी नेतृत्व क्षमता की सराहना की गई। इसके अलावा, उत्तर पश्चिम रेलवे, जयपुर में वरिष्ठ उप महाप्रबंधक और मुख्य सतर्कता अधिकारी के रूप में उनकी भूमिका ने रेलवे की पारदर्शिता और अखंडता को मजबूत किया।

सतीश कुमार को हाल ही में भारतीय रेलवे में सदस्य (ट्रैक्शन और रोलिंग स्टॉक) (एमटीआरएस) के पद पर नियुक्त किया गया था, जिसके बाद अब वे रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष के रूप में कार्यभार संभाल रहे हैं। उनकी नेतृत्व क्षमता, विशेषज्ञता, और दूरदर्शिता से भारतीय रेलवे के भविष्य को नई दिशा मिलने की उम्मीद है, जिससे यात्री सेवाओं, सुरक्षा, और बुनियादी ढाँचे में महत्वपूर्ण सुधार होंगे।

इस नई भूमिका में सतीश कुमार का अनुभव भारतीय रेलवे को कुशलतापूर्वक और प्रभावी ढंग से आगे बढ़ाने में मदद करेगा, जिससे यह सुनिश्चित होगा कि भारतीय रेलवे राष्ट्र की सेवा में निरंतर अग्रणी बना रहे।

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