तिरुपति बालाजी के लड्डू में मिला गुटका पैकेट, भक्तों ने जताई नाराजगी
अमरावती: तिरुपति बालाजी मंदिर के प्रसिद्ध लड्डू प्रसादम् को लेकर एक बार फिर विवाद खड़ा हो गया है। हाल ही में एक भक्त को प्रसाद के लड्डू में गुटका का पैकेट मिला, जिससे भक्तों में आक्रोश है और तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) प्रशासन पर सवाल उठ रहे हैं। भक्तों का कहना है कि आखिर आस्था के प्रतीक इस प्रसाद में गुटखा का पैकेट कैसे पहुंचा? यह मामला तब सामने आया जब आंध्र प्रदेश के खम्मम जिले के गोलागुडेम निवासी डोंथु पद्मावती 19 सितंबर को तिरुमाला तिरुपति मंदिर में दर्शन के बाद लड्डू प्रसाद घर लेकर आए।
सोशल मीडिया पर फैली नाराजगी
22 सितंबर को जब डोंथु पद्मावती ने अपने पड़ोसियों और रिश्तेदारों को लड्डू प्रसाद बांटने के लिए पैकेट खोला, तो उसमें गुटखा का पैकेट देखकर वे हैरान रह गए। इस घटना की जानकारी उन्होंने सोशल मीडिया पर साझा की, जिसके बाद यह मामला तेजी से वायरल हो गया। भक्तों का कहना है कि यह न केवल भावनाओं के साथ खिलवाड़ है, बल्कि मंदिर की छवि को भी धूमिल करने वाला है।
पुरानी घटनाओं की याद दिलाता विवाद
यह पहली बार नहीं है जब तिरुपति बालाजी के लड्डू प्रसादम् को लेकर विवाद हुआ है। 2012 में भी इसी तरह का मामला सामने आया था, जब लड्डू में गुटखा का पैकेट मिला था। इसके अलावा, पिछले वर्षों में लड्डू में जानवरों की चर्बी और मछली तेल मिलने के आरोप भी लग चुके हैं, जिससे भक्तों की भावनाएं आहत हुई थीं।
भक्तों के सवाल: प्रसाद में गुटखा कैसे पहुंचा?
भक्तों के बीच सवाल उठ रहा है कि आखिर लड्डू जैसे पवित्र प्रसाद में गुटखा का पैकेट कैसे पहुंचा? कुछ लोगों का मानना है कि लड्डू बनाने वाले कर्मचारियों में से कोई गुटखा खा रहा होगा, जिससे यह गलती से प्रसाद में गिर गया होगा। वहीं, अन्य लोगों का कहना है कि यह मिलावट की भी आशंका हो सकती है।
टीटीडी प्रशासन पर उठे सवाल
इस घटना के बाद तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) प्रशासन पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। भक्तों का आरोप है कि मंदिर प्रशासन प्रसाद की गुणवत्ता की सही तरीके से जांच नहीं कर रहा, जिससे इस तरह की घटनाएं बार-बार हो रही हैं। टीटीडी को इस मामले में जल्द से जल्द जांच कर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी चाहिए, ताकि भक्तों की आस्था पर कोई आंच न आए।
लड्डू प्रसाद की पवित्रता पर संकट
तिरुपति बालाजी मंदिर के लड्डू प्रसादम् को भक्त विशेष आस्था के साथ ग्रहण करते हैं, लेकिन इस तरह की घटनाएं न केवल उनकी श्रद्धा को ठेस पहुंचा रही हैं, बल्कि मंदिर की प्रतिष्ठा पर भी सवालिया निशान लगा रही हैं। इससे पहले भी तिरुपति के लड्डू में गाय के घी की जगह जानवरों की चर्बी के इस्तेमाल के आरोप लग चुके हैं, जिससे भक्तों में काफी नाराजगी देखने को मिली थी।
भविष्य में क्या होगा?
अब देखना होगा कि टीटीडी प्रशासन इस मामले को किस तरह से सुलझाता है और भक्तों के भरोसे को दोबारा कैसे कायम करता है। फिलहाल, इस घटना ने तिरुपति बालाजी मंदिर के पवित्र लड्डू प्रसाद को एक बार फिर विवादों में ला दिया है, जिससे आस्था से जुड़े इस महाप्रसाद पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।