घोटाले के पांच मामले में ट्रेजरी से करोड़ों की राशि गायब

कटनी । जिले में ट्रेजरी घोटाला समाने आया है, जिसमें अभी तक तीन विभाग के पांच मामले समाने आए हैं। इस घटना को अंजाम देने वाले कोई नेता नहीं, बल्कि विभाग में पदस्थ अधिकारी हैं, जिन्होंने प्राइवेट व्यक्तियों के माध्यम से पूरे कारनामे को अंजाम दिया है।
कटनी जिले में ट्रेजरी घोटाले में अब तक 70 लाख से अधिक की राशि का गबन किया जा चुका है, जिसके आरोपी पुराने बिल में फर्जी एकाउंट नंबर लगाकर पैसे निकाला करते थे। कोषालय अधिकारी ओपी भदौरिया ने बताया कि पशुपालन विभाग, शिक्षा विभाग और जनपद पंचायत के अब तक पांच मामले आ चुके हैं।
ताजा मामला ढीमरखेड़ा और बड़वारा जनपद का है, जहां अभी हाल ही में 31 लाख से ज्यादा की राशि फर्जी बिल लगाकर निकाली गई है। इसकी जांच चल रही है, वहीं पूर्व में पशुपालन विभाग के तकरीबन आठ लाख और शिक्षा विभाग के साढ़े 28 लाख निकले गए थे। इस पर पुलिस ने एफआईआर दर्ज करते हुए आरोपी से पैसे की वसूली के साथ ही जेल भेजने की कार्रवाई की।
मामले की गंभीरता देखते हुए कलेक्टर अवि प्रसाद ने भोपाल में पत्राचार करते हुए कोषालय अधिकारी को जिले से हटाने की मांग करते हुए पूरे मामले की जांच के लिए टीम गठित करने का भी उल्लेख किया था। कलेक्टर अवि प्रसाद के अनुसार, जांच प्रभावित न हो इसके लिए पत्र लिखा गया है। उसके बाद जबलपुर वित्त विभाग के सहायक संचालक की पांच सदस्यीय टीम कटनी पहुंचकर लेन-देन से जुड़े कागजात की जांच कर रहे हैं।

जबलपुर से पहुंची टीम का नेतृत्व कर रहे जांच अधिकारी ने बताया, पूर्व में शिक्षा विभाग के 28 लाख से और अभी के मामले की जांच के लिए जबलपुर से आए हुए हैं, जिसकी रिपोर्ट बनाकर भोपाल भेजेंगे। अभी कितना क्या गड़बड़ मिला है और किस-किस विभाग के नाम से राशि निकाली गई, इस पर कुछ भी कहना सही नहीं होगा।

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