मोपाल । राजधानी में स्थित पशुपालन प्रशिक्षण सभागृह में प्रदेश के सभी विभागों और उनकी परियोजनाओं में कार्यरत संविदा कर्मचारियों का प्रांतीय सम्मेलन संविदा कर्मचारी अधिकारी महासंघ के तत्वाधान में आयोजित किया गया जिसमें मुख्यअतिथि राज्य सामान्य वर्ग कल्याण आयोग के अध्यक्ष कैबिनेट मंत्री दर्जा प्राप्त शिव कुमार चौबे थे, अध्यक्षता म प्र. कर्मचारी कल्याण समिति के अध्यक्ष राज्यमंत्री दर्जा प्राप्त रमेश चंद्र शर्मा तथा विशिष्ट अतिथि नगर निगम परिषद के अध्यक्ष किशन सूर्यवंशी और भाजपा प्रवक्ता पंकज चतुर्वेदी समिति के सदस्य शिवपाल सिंह, बी.एल. शाक्य एवं राजन नायर और विभिन्न कर्मचारी संगठनों के ये कर्मचारी नेतागण उपस्थित थे, अजय श्रीवास्तव नीलू, चंद्र शेखर परसाई, गजेन्द्र कोठारी, अनिल वाजपेयी, श्याम सुंदर शर्मा, मनोज सिंह, वीरेन्द्र खोंगल, भुवनेश पटेल, सतीश शर्मा, महेन्द्र शर्मा, मनोहर गिरी, ओ.पी. गौर., एम.पी. द्विवेदी, सुरेन्द्र कौरव, एस.बी. सिंह, ओ.पी कटियार, उमाशंकर तिवारी, अनिल भार्गव, डी.के. यादव आदि सहित बड़ी संख्या में कर्मचारी नेता मौजूद थे। बड़ी संख्या में कर्मचारी संगठनों के नेतागण थे । सम्मेलन का शुभारंभ दीप प्रज्वलित कर सरस्वती वंदना के बाद किया गया ।
इस सम्मेलन में प्रदेश के विभिन्न विभागों और उनकी योजनाओं और परियोजनाओं के संविदा कर्मचारियों ने भाग लिया । म.प्र. संविदा कर्मचारी अधिकारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश राठौर ने सभी संविदा कर्मचारियों की और से अतिथियों को अवगत करया कि पंजाब और उड़ीसा में बकायदा कानून बनाकर संविदा कर्मचारियों को नियमित किया गया है वहीं मप्र में जन अभियान परिषद के संविदा कर्मचारियों को नियमित कर दिया गया है, पंचायत कर्मी, शिक्षा कर्मी, गुरुजी दैनिक वेतन भोगी सभी को नियमित किया लेकिन संविदा कर्मचारियों को नियमित करने के लिए 5 जून 2018 की संविदा नीति बना दी जिससे अभी तक कोई भी संविदा कर्मचारी अधिकारी नियमित नहीं हो पाये वहीं 5 जून 2018 की संविदा नीति आने के बाद वित्त विभाग के योजना आर्थिक सांख्यिकी विभाग अंतर्गत जन अभियान परिषद के संविदा कर्मचारियों को योजना आर्थिक सांख्यिकी विभाग ने अपने स्तर पर नियम बनाकर नियमित कर दिया उसी प्रकार सभी विभाग के अध्यक्ष को अधिकार दे दिया जाए कि आपके अधीन संविदा कर्मचारियों को आप अपने स्तर पर नियिमत कर सकते हो । संविदा कर्मचारियों ने ये प्रमुख मांगे सम्मेलन में उपस्थिति मुख्य अतिथि शिव कुमार चौबे और अध्यक्षता कर रहे कर्मचारी कल्याण समिति के अध्यक्ष रमेश चंद्र शर्मा जी के सामने रखी कि संविदा कर्मचारियों को नियमित कर्मचारियों के समान वेतनमान मंहगाई भत्ता, व अन्य भत्ते दिये जाएं तथा वरिष्ठता के आधार पर समय-मान वेतनमान, पदोन्नती क्रमोन्नती, अनुकम्पा नियुक्ति ग्रेच्यूटी, आदि की व्यवस्था की जाए । सभी संविदा कर्मचारियों को 5 जून 2018 की संविदा नीति के तहत 7 वे* *वेतनमान का लाभ और अन्य सुविधाएं शीघ्र अतिशीघ्र दिया जाए। संविदा कर्मचारियों के प्रतिवर्ष संविदा नवीनीकरण की शोषण करने वाले प्रथा बंद की जाए. महिला संविदा कर्मचारियों को भी नियमित* *कर्मचारियों की तरह संतानपालन अवकाश (चाइल्ड केयर लीव ) का लाभ दिया जाए। जिन विभागों के संविदा कर्मचारियों को वित्त विकास निगम, केन्द्रीय जिला सहकारी बैंक के डाटा एन्ट्री आपरेटर, योजना आर्थिक सांख्यिकी हटा दिया गया है जैसे एसडीआरएफ, बाल विभाग के संविदा कर्मचारियों का वापस लिया जाए । चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी और वाहन चालाके के पदों भवन के शिक्षक, संगतकार, अनुदेशकों महिला आर्थिक को ड्राइंग कैडर घोषित करने की बजाए जो संविदा पर चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी और वाहन चालक हैं। उनको उन पदों पर नियमित किया जाए* |
*इन विभागों के संविदा कर्मचारियों ने भाग लिया राज्य शिक्षा केन्द्र अंतर्गत समग्र शिक्षा अभियान, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, खेल एवं युवा कल्याण विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, मनरेगा स्वच्छ भारत अभियान, मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क विकास प्राधीकरण, आजीविका मिशन. राज्य जल मिशन, स्मार्ट सीटी नगर निगम राजीव गाधी जलग्रहण मिशन, पुरातत्व विभाग, ग्रामीण यांत्रिकी सेवा, आदिवासी वित्त विकास निगम, नागरिक आपत्ति निगम, डीआरडीए, आईएलपी शहरी विकास अभिकरण, स्वास्थ्य विभाग, आयुष विभाग, राष्ट्रीय ग्रामीण एवं शहरी स्वास्थ्य मिशन, लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग, लोक स्वास्थ्य एवं यात्रिकी विभाग, ऊर्जा विभाग, बिजली कम्पनी के कर्मचारी, महिला बाल विकास विभाग, महिला आर्थिक विकास निगम, तेजस्वनी परियोजना, किसान कल्याण एवं कृषि विकास विभाग, आदिम जाति एवं सामाजिक न्याय विभाग, वन विभाग, चिकित्सा शिक्षा एवं तकनीकी शिक्षा विभाग, कौशल विकास केन्द्र, नगरीय प्रशासन विभाग, कुटीर एवं ग्रामोउद्योग विभाग, स्कूल शिक्षा एवं उच्च शिक्षा विभाग, संस्कृति एवं धार्मिक न्यास विभाग, वाणिज्यक कर विभाग, सहकारिता विभाग सुशासन एवं प्रशासन विभाग, समस्त निगम मण्डल, योजना एवं आर्थिक सांख्यिकी विभाग, पुलिस हाऊसिंग विभाग, मनरेगा एवं रोजगार सहायक, लोक निर्माण विभाग, पशुपालन विभाग, लोक सेवा एवं प्रबंधन विभाग, गर्वनेस विभाग आदि, विकास प्राधीकरण विभाग, पीएचई, हैण्डपंप टैक्नशियन, आवास एवं पर्यावरण विभाग, राष्ट्रीय खाद्य मिशन, आत्मा परियोजना, सामाजिक न्याय, आयुष, नियमित संविदा पैरा मेडिकल विभाग सहित अनेक विभागों के संविदा अधिकारी / कर्मचारियों ने भाग लिया* ।
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